MTNL ने सरकारी बैंकों का ₹8,346 करोड़ कर्ज नहीं चुकाया:यूनियन बैंक से ₹3,633 करोड़ का लोन शामिल; फाइनेंशियल क्राइसिस से जूझ रही कंपनी
सरकारी टेलीकॉम कंपनी महानगर टेलीफोन निगम लिमिटेड (MTNL) ने 7 पब्लिक सेक्टर बैंकों का 8,346.24 करोड़ रुपए के कर्ज की किश्तें नहीं चुकाई हैं। कंपनी ने 19 अप्रैल को रेगुलेटरी फाइलिंग में यह जानकारी दी है। MTNL का कुल कर्ज 31 मार्च, 2025 तक 33,568 करोड़ रुपए पहुंच गया है। MTNL ने अगस्त 2024 से फरवरी 2025 के बीच कर्ज की किश्तें नहीं चुकाई। MTNL पिछले कई वर्षों से कर्ज में डूबी हुई है। कंपनी को कर्मचारियों को वेतन और पेंशन देने में भी दिक्कत हो रही है। घाटे में चल रही है कंपनी MTNL पिछले कई सालों से फाइनेंशियल क्राइसिस से जूझ रही है। 2022-23 में कंपनी को 3,800 करोड़ रुपये का घाटा दर्ज किया गया था। एक्सपर्ट्स का मानना है कि प्राइवेट कंपनियों से कॉम्पिटिशन और पुरानी इंफ्रास्ट्रक्चर इस संकट की बड़ी वजह हैं। डूबने से बचाने सरकार ने जारी किए सॉवरेन गारंटी बॉन्ड MTNL को बचाने के लिए केंद्र सरकार पहले ही 24,071 करोड़ रुपए के सॉवरेन गारंटी बॉन्ड जारी कर चुकी है। सरकार अब MTNL और BSNL के मर्जर पर विचार कर रही है, लेकिन इसके लिए अभी कोई ठोस योजना नहीं बनाई गई है। 5 साल में 500% चढ़ा MTNL का शेयर MTNL के शेयर ने निवेशकों को 5 साल में 500% से ज्यादा का मुनाफा दिया है। लेकिन इस साल अब तक 14.65% की गिरावट दर्ज की गई है। पिछले 6 महीने में शयर ने 13.14% का नेगेटिव रिटर्न दिया है। गुरुवार को शेयर 0.16% की मामूली गिरावट के साथ 43.85 रुपए पर बंद हुआ। कंपनी का मार्केट कैपिटल 2,760 करोड़ रुपए है।