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Ahmedabad GST Scam | बड़े अखबार के पत्रकार ने लोगों को लगाया चूना? अहमदाबाद पुलिस ने जीएसटी घोटाले में आरोपी को किया गिरफ्तार

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अहमदाबाद क्राइम ब्रांच ने मंगलवार को गुजरात के एक प्रमुख अखबार के वरिष्ठ पत्रकार को कथित वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) घोटाले में गिरफ्तार किया। पुलिस उपायुक्त (अपराध) अजीत राजियन ने बताया कि विस्तृत पूछताछ के बाद पत्रकार महेश लांगा को मंगलवार सुबह क्राइम ब्रांच ने गिरफ्तार कर लिया। पुलिस उपायुक्त (अपराध) अजीत राजियन ने बताया कि पत्रकार महेश लांगा को मंगलवार सुबह गहन पूछताछ के बाद हिरासत में लिया गया। उन्होंने कहा कि केंद्रीय जीएसटी ने महेश लांगा की पत्नी और पिता के नाम से जाली दस्तावेजों का उपयोग करके पंजीकृत फर्जी कंपनियों से जुड़े संदिग्ध लेनदेन पाए। आगे की जांच के लिए लांगा को गिरफ्तार कर लिया गया है।
 

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अहमदाबाद पुलिस ने जीएसटी ‘धोखाधड़ी’ में पत्रकार को किया गिरफ्तार
अहमदाबाद पुलिस की अपराध शाखा ने मंगलवार को गुजरात के एक प्रमुख समाचार पत्र के वरिष्ठ पत्रकार को कथित वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) धोखाधड़ी के आरोप में गिरफ्तार किया। पुलिस ने कहा, ‘‘केंद्रीय जीएसटी को महेश लांगा की पत्नी और पिता के नाम पर जाली दस्तावेजों का उपयोग करके फर्जी फर्मों में कुछ संदिग्ध लेनदेन का पता चला था। विस्तृत जांच के लिए लांगा को गिरफ्तार किया गया है।’’ 
 

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कंपनी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज 
अपराध शाखा की ओर से जारी एक विज्ञप्ति में बताया गया कि सोमवार को शहर की अपराध शाखा ने फर्जी लेनदेन के जरिए ‘इनपुट टैक्स क्रेडिट’ का लाभ उठाकर सरकार के साथ धोखाधड़ी करने के मकसद से फर्जी कंपनी संचालित करने के कथित घोटाले के संबंध में केंद्रीय जीएसटी से शिकायत मिलने के बाद कई व्यक्तियों और कंपनी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की। 
14 अलग-अलग स्थानों पर छापेमारी की
प्राथमिकी दर्ज होने के बाद अपराध शाखा ने गुजरात की आर्थिक अपराध शाखा के साथ मिलकर अहमदाबाद, जूनागढ़, सूरत, खेड़ा और भावनगर सहित राज्य भर में 14 अलग-अलग स्थानों पर छापेमारी की। विज्ञप्ति में कहा गया है, ‘‘ऐसा लगाता है कि फर्जी तरीके से ‘इनपुट टैक्स क्रेडिट’ का लाभ लेकर सरकारी खजाने को नुकसान पहुंचाने में संगठित तरीके से देशभर में सक्रिय 200 से अधिक फर्जी कंपनी शामिल थीं। कर चोरी के लिए ऐसी कंपनी बनाने के वास्ते जाली दस्तावेजों और फर्जी पहचान का इस्तेमाल किया गया।’’
 
इसमें कहा गया कि जाली बिल और जाली दस्तावेजों का उपयोग करके देश को करोड़ों रुपये का नुकसान पहुंचाने की साजिश में एक ‘‘बड़ा समूह’’ काम कर रहा है। प्राथमिकी में आरोपी के तौर पर नामजद कुछ संस्थाओं में ‘ध्रुवी एंटरप्राइज’, ‘ओम कंस्ट्रक्शन’, ‘राज इंफ्रा’, ‘हरेश कंस्ट्रक्शन कंपनी’ और ‘डीए एंटरप्राइज’ शामिल हैं।

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