सैलरी नहीं मिलने पर ओमान से नाव लेकर भागे भारतीय:GPS की मदद से 3000KM का समुद्री सफर तय किया, इंडियन कोस्ट गार्ड ने पकड़ा
ओमान में काम कर रहे तीन भारतीय सैलरी ने मिलने से परेशान होकर भारत के लिए भाग निकले। देश वापस लौटने के लिए उन्होंने समुद्र का रास्ता चुना और एक नाव चुरा ली। उन्होंने नाव के जरिए 3000 किमी का सफर भी तय कर लिया था, लेकिन 6 दिन बाद भारतीय कोस्टगार्ड ने उन्हें कर्नाटक के उडुपी तट के पास पकड़ लिया गया। तीनों को सोमवार को उडुपी की अदालत में पेश किया गया था और जहां से उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। इस घटना की जानकारी अब सामने आई है। पूरा मामला डिटेल से पढ़ें… 1. ओमान की कंपनी ने पासपोर्ट जब्त किया, तो नाव लेकर भागे
जेम्स फ्रैंकलिन मोसेस (50), रॉबिनस्टन (50) और डेरोज अल्फांसो (38) तमिलनाडु के रहने वाले हैं। तीनों ओमान में एक मछली पकड़ने वाली कंपनी में काम कर रहे थे। यहां उन्हें समय पर सैलरी नहीं मिल रही थी और उन्हें परेशान किया जा रहा था। ऐसे में तीनों ने घर वापस लौटने का मन बनाया। लेकिन, ओमान की कंपनी ने इन लोगों का पासपोर्ट जब्त कर लिया था, इसलिए इनके पास घर लौटने के लिए समुद्र के रास्ते आने के अलावा कोई जरिया नहीं था। ऐसे में तीनों एक मछली पकड़ने वाली नाव लेकर भाग निकले। 2. भारत की सीमा में दाखिल हुए तो एक मछुआरे ने पुलिस को बताया तीनों 17 फरवरी को दोपहर 3 बजे ओमान के पूर्वी हिस्से में दुकम बंदरगाह से निकले। 6 दिन का सफर तय कर 23 फरवरी को उडुपी के सेंट मैरी आईलैंड के पास नाव से भारतीय जलक्षेत्र में दाखिल हुए। ओमान की नाव देखकर एक लोकल मछुआरे ने इस बारे में तटीय सुरक्षा पुलिस को जानकारी दी। 3. GPS डिवाइस की मदद से तय किया 3000 किमी का सफर जानकारी मिलते ही भारतीय तटरक्षक और तटीय सुरक्षा पुलिस ने शाम करीब 4.30 बजे सेंट मैरी आईलैंड के पास से तीनों को पकड़ लिया। सभी पर पासपोर्ट एक्ट 1920 की धारा 3 और भारतीय समुद्री क्षेत्र एक्ट 1981 की धारा 10, 11 और 12 के तहत मामला दर्ज किया गया। पूछताछ में सामने आया कि ये लोग सिर्फ एक GPS डिवाइस की मदद से लगभग 3000 किलोमीटर का समुद्री सफर तय करके करवार तट के रास्ते सेंट मैरी द्वीप पहुंचे थे। तटीय सुरक्षा पुलिस के SP मिथुन HN ने इस मामले में किसी भी आतंकी एंगल से इनकार किया है।