पेटीएम फाउंडर बोले- नौकरियों पर AI का असर टालना नामुमकिन:आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस को एम्प्लॉई की तरह इस्तेमाल करना पड़ेगा; इससे नई जॉब्स भी जनरेट होंगी
पेटीएम के फाउंडर विजय शेखर शर्मा ने कहा है कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) का नौकरियों पर असर अब टालना नामुमकिन है। उन्होंने दिल्ली में एक AI इवेंट के दौरान कहा जल्दी या देर से, हमें AI को एम्प्लॉई या CFO की तरह इस्तेमाल करना ही पड़ेगा। शर्मा ने माना कि AI आने वाले वक्त में इंसानों के कई काम खुद करेगा, लेकिन साथ ही ये नई तरह की नौकरियां और रोल भी पैदा करेगा। नई जॉब्स भी जनरेट करेगा AI विजय शेखर शर्मा ने माना कि AI कई रूटीन जॉब्स को ऑटोमेट कर देगा, जिससे कुछ लोगों की नौकरियां जाएंगी। लेकिन उन्होंने यह भी कहा कि हर टेक्नोलॉजी बदलाव की तरह, AI भी नई जॉब्स और रोल्स लेकर आएगा, खासकर डेटा साइंस, मशीन लर्निंग और इंटेलिजेंट सिस्टम्स जैसे फील्ड्स में। शर्मा ने STD-PCO बिजनेस का उदाहरण देते हुए कहा कि जैसे मोबाइल-इंटरनेट ने उनकी जगह ले ली, वैसे ही AI से भी बदलाव आना तय है। पेटीएम भी AI-फर्स्ट कंपनी बनेगी शर्मा ने बताया कि पेटीएम अब सिर्फ फिनटेक कंपनी नहीं रहना चाहती, बल्कि AI-फर्स्ट कंपनी बनने की ओर बढ़ रही है। कंपनी अपने रूटीन बिजनेस प्रोसेस में AI को तेजी से शामिल कर रही है। शर्मा ने कहा, हमें AI को सिर्फ एक टूल नहीं, बल्कि को-वर्कर या एग्जीक्यूटिव की तरह इस्तेमाल करना सीखना होगा। नए AI फीचर लाएगा पेटीएम पेटीएम अपने यूजर्स के लिए AI-पावर्ड पासबुक फीचर ला रही है, जिसमें यूजर के महीनेभर के खर्चों का डेटा लेकर एक रैप सॉन्ग जेनरेट होगा। शर्मा ने बताया कि यह फीचर जल्द लॉन्च किया जाएगा, जिससे फाइनेंस मैनेजमेंट मजेदार बनेगा। इससे पहले पेटीएम ने US बेस्ड AI स्टार्टअप परप्लेक्ससिटी के साथ मिलकर अपने ऐप में AI सर्च फीचर भी जोड़ा था। 2009 में हुई थी पेटीएम की शुरुआत पेटीएम की पेरेंट कंपनी वन97 कम्युनिकेशंस ने अगस्त 2009 में पेटीएम पेमेंट ऐप को लॉन्च किया था। इसके फाउंडर विजय शेखर शर्मा है। अभी देश में पेटीएम के 30 करोड़ से ज्यादा यूजर हैं। पेटीएम का मार्केट कैप करीब 28 हजार करोड़ रुपए है।