Tuesday, March 11, 2025
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पंजाब में ‘इमरजेंसी’ के रिलीज पर छलका कंगना का दर्द:बोली- कुछ छोटे-मोटे लोगों की वजह से हो रहा विवाद; प्रदर्शन पर जताई नाराजगी

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बॉलीवुड अभिनेत्री एवं हिमाचल की मंडी सीट से सांसद कंगना रनोट का ‘इमरजेंसी’ फिल्म की रिलीज को लेकर दर्द छलका है। कंगना ने अपने एक्स अकाउंट पर एक वीडियो पोस्ट किया है। उन्होंने लिखा कि, उनकी फिल्म को लेकर पंजाब में कुछ छोटे-मोटे व चुनिंदा लोगों की वजह से रिलीज से रोका जा रहा है। कंगना ने कहा कि आग छोटे-मोटे लोगों ने लगाई है और इसमें जल हम सब रहे हैं। उन्होंने कहा, इंडस्ट्री में कहा जाता था कि पंजाब में उनकी फिल्में सबसे अच्छा परफॉर्म करती थी। मगर आज उनकी फिल्म को रिलीज तक नहीं होने दिया जा रहा है। कनाड़ा और ब्रिटेन में भी लोगों पर हमले किए जा रहे हैं। वह कहती हैं कि उनका देश के प्रति क्या विचार है, यह इस फिल्म से प्रदर्शित होता है। कंगना ने एक्स पर पोस्ट किया वीडियो कंगना रनोट ने अपने एक्स पर एक वीडियो पोस्ट कर संदेश दिया कि “दोस्तों, मैं जी स्टूडियो, मणिकर्णिका फिल्म और इज माई ट्रिप के हर सदस्य की तरफ से आप लोगों का दिल से आभार व्यक्त करती हूं। आप लोगों ने हमारी फिल्म को इतना प्यार दिया, इतना सम्मान दिया। हमारे पास कोई शब्द ही नहीं है, उस आभार को व्यक्त करने के लिए, लेकिन मेरे दिल में अभी भी कुछ दर्द है। पंजाब में इमरजेंसी के रिलीज पर रोक बता दें कि बीते शुक्रवार को इमरजेंसी फिल्म रिलीज हो गई है। मगर पंजाब में सिख संगठन इसका विरोध कर रहे है। इस वजह से फिल्म की रिलीज को रोका गया है। राज्य के किसी भी थिएटर में फिल्म नहीं दिखाई गई। PVR ग्रुप के 70 से 80 थिएटरों पर ये फिल्म दिखाई जानी थी, विरोध के बाद इन थिएटरों पर फिल्म नहीं लगी। SGPC का सिखों की भावनाओं को ठेस पहुंचाने का आरोप शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (SGPC) ने फिल्म में ऐतिहासिक तथ्यों से छेड़छाड़ और सिख समुदाय की भावनाओं को ठेस पहुंचाने का आरोप लगाया है। SGPC प्रधान हरजिंदर सिंह धामी ने गुरुवार को पंजाब CM भगवंत मान को लेटर भी लिखा था। लेटर में धामी ने कहा था- ‘इमरजेंसी’ को पंजाब में बैन किया जाए। फिल्म में 1975 के आपातकाल के दौरान सिखों और उनके संघर्ष को जैसा दिखाया गया है, वह इतिहास से मेल नहीं खाता और सिखों की गलत छवि बना रहा है। धामी का आरोप है, फिल्म में सिखों के बलिदान और योगदान को नजरअंदाज किया गया। उन्हें नकारात्मक दिखाया गया। सिखों की भावनाओं का सम्मान करते हुए पंजाब में फिल्म रिलीज रोकी जाए।’

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