जनवरी में गोल्ड ETF में रिकॉर्ड ₹2,950 करोड़ का निवेश:दाम बढ़ने के साथ इसमें निवेश भी बढ़ा, एक साल में 35% तक का रिटर्न
सोने के दाम बढ़ने के साथ इसमें निवेश भी बढ़ा है। जनवरी में भारत में गोल्ड ETF में रिकॉर्ड 40 करोड़ डॉलर (2,950 करोड़ रुपए) का निवेश हुआ। इससे पहले अक्टूबर 2024 में रिकॉर्ड 1,962 करोड़ रुपए का निवेश हुआ था। गोल्ड ETF ने 1 साल में 35% तक का रिटर्न दिया है। अगर आप भी सोने में निवेश करने का मन बना रहे हैं तो गोल्ड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड यानी गोल्ड ETFs में निवेश एक अच्छा ऑप्शन हो सकता है। ऐसे में यहां हम आपको गोल्ड ETF के बारे में बता रहे हैं… सोने के गिरते-चढ़ते भावों पर बेस्ड होते हैं ETF
एक्सचेंज ट्रेडेड फंड सोने के गिरते-चढ़ते भावों पर बेस्ड होते हैं। एक गोल्ड ETF यूनिट का मतलब है कि 1 ग्राम सोना। वह भी पूरी तरह से प्योर। गोल्ड ETFs की खरीद-बिक्री शेयर की ही तरह BSE और NSE पर की जा सकती है। हालांकि, इसमें आपको सोना नहीं मिलता। आप जब इससे निकलना चाहें तब आपको उस समय के सोने के भाव के बराबर पैसा मिल जाएगा। गोल्ड ETF में निवेश करने के 5 फायदे इसमें कैसे कर सकते हैं निवेश?
गोल्ड ETF खरीदने के लिए आपको अपने ब्रोकर के माध्यम से डीमैट अकाउंट खोलना होता है। इसमें NSE पर उपलब्ध गोल्ड ETF के यूनिट आप खरीद सकते हैं और उसके बराबर की राशि आपके डीमैट अकाउंट से जुड़े बैंक अकाउंट से कट जाएगी। आपके डीमैट अकाउंट में ऑर्डर लगाने के दो दिन बाद गोल्ड ETF आपके अकाउंट में डिपॉजिट हो जाते हैं। ट्रेडिंग खाते के जरिए ही गोल्ड ETF को बेचा जाता है। सोने में सीमित निवेश फायदेमंद
एक्सपर्ट के अनुसार, भले ही आपको सोने में निवेश करना पसंद हो तब भी आपको इसमें सीमित निवेश ही करना चाहिए। कुल पोर्टफोलियो का सिर्फ 10 से 15% ही सोने में निवेश करना चाहिए। किसी संकट के दौर में सोने में निवेश आपके पोर्टफोलियो को स्थिरता दे सकता है, लेकिन लंबी अवधि में यह आपके पोर्टफोलियो के रिटर्न को कम कर सकता है।